आरकॉम, आरसीएफएल और आरएचएफएल बैंक धोखाधड़ी मामले से जुड़ी कार्रवाई
प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने मनी लॉन्ड्रिंग निवारण अधिनियम (PMLA), 2002 के तहत रिलायंस अनिल धीरूभाई अंबानी समूह (ADAG) की विभिन्न कंपनियों से जुड़ी ₹3,083 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की 42 संपत्तियों को अस्थायी रूप से अटैच किया है।
ईडी के अनुसार, जिन संपत्तियों को अटैच किया गया है, उनमें शामिल हैं —
- रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड की 30 संपत्तियां,
- आधार प्रॉपर्टी कंसल्टेंसी प्रा. लि. की 5 संपत्तियां,
- मोहनबीर हाईटेक बिल्ड प्रा. लि. की 4 संपत्तियां,
- और गेम्सा इन्वेस्टमेंट मैनेजमेंट प्रा. लि., विहान43 रियल्टी प्रा. लि. (पूर्व में कुंजबिहारी डेवलपर्स प्रा. लि.) तथा कैंपियन प्रॉपर्टीज लिमिटेड की एक-एक संपत्ति।
इन संपत्तियों में अनिल अंबानी का पाली हिल स्थित निवास, नई दिल्ली के महाराजा रणजीत सिंह मार्ग पर स्थित रिलायंस सेंटर, तथा दिल्ली, नोएडा, गाज़ियाबाद, मुंबई, पुणे, ठाणे, हैदराबाद, चेन्नई, कांचीपुरम और ईस्ट गोदावरी में स्थित कई अन्य संपत्तियां शामिल हैं।
ईडी की यह कार्रवाई रिलायंस कम्युनिकेशंस (RCOM) के एसबीआई बैंक धोखाधड़ी मामले और रिलायंस कमर्शियल फाइनेंस लिमिटेड (RCFL) तथा रिलायंस होम फाइनेंस लिमिटेड (RHFL) से जुड़े यस बैंक धोखाधड़ी मामलों के सिलसिले में की गई है।
अधिकारियों के अनुसार, अटैच की गई संपत्तियां PMLA के तहत निर्णयाधीन प्राधिकारी के आगे अंतिम आदेश तक अस्थायी रूप से जब्त रहेंगी।
इस बीच, रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड ने बयान जारी कर कहा,
“हम सूचित करना चाहते हैं कि कंपनी की कुछ परिसंपत्तियों को ईडी द्वारा पीएमएलए के तहत कथित उल्लंघनों के संबंध में अस्थायी रूप से अटैच किया गया है। इसका कंपनी के व्यावसायिक परिचालन, शेयरधारकों, कर्मचारियों या किसी अन्य हितधारक पर कोई प्रभाव नहीं पड़ा है। अनिल डी. अंबानी पिछले 3.5 वर्षों से रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड के बोर्ड में नहीं हैं।”
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