अमेरिकी अधिकारियों ने पूर्व भारतीय अधिकारी विकास यादव के खिलाफ गंभीर आरोप लगाए हैं, जिनमें सिख अलगाववादी नेता गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की साजिश रचने का आरोप शामिल है। विकास यादव पर “मर्डर-फॉर-हायर” और “मनी लॉन्ड्रिंग” के आरोप लगाए गए हैं। अमेरिका की न्याय विभाग और FBI द्वारा जारी वांटेड पोस्टर में विकास यादव को एक भगोड़ा घोषित किया गया है।
FBI के अनुसार, विकास यादव को गिरफ्तार करने के लिए 10 अक्टूबर को एक संघीय वारंट जारी किया गया था। न्याय विभाग ने गुरुवार को विकास यादव के खिलाफ आपराधिक आरोपों की घोषणा की। यादव पहले भारतीय कैबिनेट सचिवालय के कर्मचारी थे, जहां उन्हें भारत की विदेशी खुफिया एजेंसी रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (R&AW) से जोड़ा गया था।
FBI के निदेशक क्रिस्टोफर रे ने कहा, “यह भारतीय सरकारी कर्मचारी, अपने एक आपराधिक साथी के साथ मिलकर, एक अमेरिकी नागरिक की हत्या की साजिश रच रहा था क्योंकि वह अपने पहले संशोधन अधिकारों का उपयोग कर रहा था।” इस साजिश का लक्ष्य सिख अलगाववादी नेता गुरपतवंत सिंह पन्नू थे, जो एक अमेरिकी नागरिक हैं।
इस मामले में विकास यादव का सहयोगी निकिल गुप्ता भी शामिल था, जिसे पिछले साल चेक गणराज्य से गिरफ्तार कर अमेरिका लाया गया था। निकिल गुप्ता वर्तमान में अमेरिकी जेल में बंद है और इस मामले में पहले से ही मुकदमे का सामना कर रहा है।
विकास यादव को ‘सीसी-1’ (सह-षड्यंत्रकारी) के रूप में पहचाना गया था। 18 पृष्ठों के अभियोग में यह बताया गया है कि विकास यादव ने अपने पद को ‘सीनियर फील्ड ऑफिसर’ बताया था, जिसमें ‘सुरक्षा प्रबंधन’ और ‘खुफिया’ का जिम्मा था। उनका पहले केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) में असिस्टेंट कमांडेंट के रूप में भी कार्यकाल था, और उन्हें युद्ध कौशल और हथियारों का प्रशिक्षण मिला था।
अमेरिकी न्याय विभाग के अनुसार, यह साजिश 2023 की गर्मियों में रची गई थी, जिसमें पन्नू की हत्या के लिए एक व्यक्ति को USD 100,000 का भुगतान किया जाना था। इस साजिश में 9 जून 2023 को $15,000 की अग्रिम राशि भी दी गई थी, जो FBI के एक मुखबिर ने रिकॉर्ड की थी।
भारत की प्रतिक्रिया
नई दिल्ली में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रंधीर जायसवाल ने इस मामले में कहा कि विकास यादव अब भारत सरकार के कर्मचारी नहीं हैं। भारतीय सरकार ने इस मामले से किसी भी तरह के संबंध या साजिश में शामिल होने से इनकार किया है। भारत ने इन आरोपों की जांच के लिए एक आंतरिक समिति का गठन किया है और अमेरिका के साथ सहयोग जारी रखा है।
अमेरिका के राज्य विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने बुधवार को कहा कि अमेरिका भारत के सहयोग से संतुष्ट है और यह प्रक्रिया अभी भी चल रही है। उन्होंने कहा, “हम इस सहयोग की सराहना करते हैं और अपनी जांच के बारे में एक-दूसरे को अपडेट कर रहे हैं।”
इस मामले में दूसरी अभियोग की घोषणा भारत की जांच समिति के अमेरिका दौरे के 48 घंटे बाद आई है, जिसमें FBI, न्याय विभाग और राज्य विभाग के अधिकारियों के साथ मुलाकात की गई थी।
इस मामले के चलते भारत-अमेरिका संबंधों में तनाव की स्थिति बनी हुई है, हालांकि दोनों देशों के बीच बातचीत और सहयोग जारी है।